joharcg.com राजधानी के विकास के लिए एक और महत्वपूर्ण कदम उठाया जा रहा है, क्योंकि सगनीघाट और सिल्लीघाट के बीच बन रहे नए पुल पर आवागमन की शुरुआत जल्द ही होने वाली है। इस पुल के निर्माण कार्य को अंतिम रूप दिया जा रहा है, और इसकी ओपनिंग से क्षेत्र के लोगों को न केवल यातायात में राहत मिलेगी, बल्कि यह क्षेत्रीय विकास में भी अहम भूमिका निभाएगा।
यह पुल लंबे समय से क्षेत्र के नागरिकों की आवश्यकता बन चुका था, क्योंकि वर्तमान में दोनों घाटों के बीच यात्रा करने के लिए लोग पुराने और असुरक्षित रास्तों का उपयोग करते थे। नए पुल के निर्माण से यह दूरी कम होगी, जिससे समय की बचत होगी और यात्रा अधिक सुरक्षित हो सकेगी।
इस पुल के बन जाने से सगनीघाट और सिल्लीघाट के बीच आवागमन की गति में उल्लेखनीय सुधार होगा। साथ ही, यह पुल स्थानीय व्यापार, शिक्षा, और स्वास्थ्य सेवाओं के लिए भी वरदान साबित होगा, क्योंकि बेहतर कनेक्टिविटी से लोगों को इन सुविधाओं तक पहुंचने में आसानी होगी।
स्थानीय प्रशासन ने पुल के निर्माण में तेजी लाने के लिए विशेष प्रयास किए हैं, और इसके उद्घाटन की तिथि नजदीक आते ही अधिकारी संतुष्ट नजर आ रहे हैं। यह पुल एक रणनीतिक स्थान पर स्थित है, और इसकी महत्ता न केवल स्थानीय लोगों के लिए, बल्कि पूरे क्षेत्र के लिए है।
पुल का उद्घाटन होने के बाद, प्रशासन ने इसे नियमित रूप से मेंटेन करने की योजना बनाई है, ताकि यातायात में कोई रुकावट न आए और लोगों को बेहतर सुविधाएं मिल सकें।
सारांश में, सगनीघाट और सिल्लीघाट के बीच बन रहा यह पुल क्षेत्र के विकास में एक महत्वपूर्ण मील का पत्थर साबित होगा। यह पुल न केवल यातायात की सुगमता में वृद्धि करेगा, बल्कि स्थानीय लोगों के जीवन स्तर को भी बेहतर बनाएगा।
रायपुर। दुर्ग जिले के सगनीघाट और सिल्लीघाट के बीच शिवनाथ नदी पर निर्माणाधीन नए पुल का काम पूर्ण होने के कगार पर है। 14 करोड़ रुपए से अधिक की लागत से बन रहे पुल का 95 प्रतिशत काम पूरा कर लिया गया है। अभी पुल के दोनों ओर सीसी रोड निर्माण का काम प्रगति पर है। अगले कुछ दिनों में पुल के ऊपर बीटी वर्क के बाद पुल आवागमन के लिए तैयार हो जाएगा।
लोक निर्माण विभाग द्वारा दुर्ग-धमधा मार्ग को जालबांधा-खैरागढ़ मार्ग से जोड़ने वाली सड़क में शिवनाथ नदी पर सगनीघाट और सिल्लीघाट के बीच 400 मीटर लंबे नए पुल का निर्माण किया जा रहा है। इससे क्षेत्र के 12 गांवों की करीब 20 हजार आबादी के साथ ही इस मार्ग का उपयोग कर जिला मुख्यालय दुर्ग, विकासखंड मुख्यालय धमधा, जालबांधा एवं खैरागढ़ की ओर आने-जाने वालों को फायदा होगा।
धमधा, ननकट्ठी, सगनी, लिटिया, बोरी और सिल्ली जैसे कई गांवों के लोग अब नदी के उस पार के गांवों में बारहों महीने निर्बाध आवागमन कर सकेंगे। इससे क्षेत्रवासियों को बड़ी राहत मिलेगी।