joharcg.com महाराष्ट्र में सियासी संकट लगातार गहराता जा रहा है, और अब मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे ने एक बड़ा फैसला लेने का संकेत दिया है। राज्य की राजनीति में हाल के दिनों में हुए घटनाक्रमों ने राजनीतिक हलकों में खलबली मचा दी है। शिंदे के इस फैसले के बाद, पूरे महाराष्ट्र में सियासी सरगर्मियां तेज हो गई हैं और सभी की नजरें इस फैसले पर टिकी हैं।
सूत्रों के मुताबिक, शिंदे इस महत्वपूर्ण निर्णय से पहले सभी प्रमुख नेताओं से चर्चा करेंगे और पार्टी के भीतर सुलह का प्रयास करेंगे। हालांकि, कई राजनीतिक पर्यवेक्षकों का मानना है कि शिंदे इस फैसले के जरिए पार्टी में अपनी स्थिति मजबूत करने की कोशिश कर सकते हैं। राज्य में सत्तारूढ़ गठबंधन और विपक्ष दोनों ही इस घटनाक्रम को लेकर सतर्क हैं।
राज्य में सियासी उथल-पुथल का मुख्य कारण शिंदे और उद्धव ठाकरे के नेतृत्व में पार्टी में जारी मतभेद हैं, जो पिछले कुछ महीनों से सुर्खियों में बने हुए हैं। शिंदे के समर्थन में कई विधायक भी आ चुके हैं, जिससे उनकी स्थिति और मजबूत हुई है।
राज्य के राजनीतिक विशेषज्ञों का मानना है कि इस फैसले के बाद, महाराष्ट्र की राजनीति में बड़ा बदलाव आ सकता है। शिंदे के इस फैसले से न सिर्फ उनकी पार्टी के भविष्य पर असर पड़ेगा, बल्कि राज्य की राजनीति की दिशा भी बदल सकती है।
शिंदे के फैसले के बारे में राजनीतिक माहौल को देखकर यह कहा जा सकता है कि यह राज्य की राजनीति के लिए एक निर्णायक मोड़ साबित हो सकता है।
महाराष्ट्र में चुनावी नतीजे घोषित होने के एक सप्ताह बाद भी नए मुख्यमंत्री को लेकर सस्पेंस बकरार है। सीएम और डिप्टी सीएम के चेहरे को लेकर लगातार सियासी गलियारों में हलचल मची हुई है।
महाराष्ट्र में चुनावी नतीजे घोषित होने के एक सप्ताह बाद भी नए मुख्यमंत्री को लेकर सस्पेंस बकरार है। सीएम और डिप्टी सीएम के चेहरे को लेकर लगातार सियासी गलियारों में हलचल मची हुई है। इस बीच, कार्यवाहक मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे अपने पैतृक गांव चले गए। इस वजह से महाराष्ट्र सरकार के गठन पर फैसला लेने के लिए मुंबई में होने वाली महायुति की अहम बैठक स्थगित कर दी गई थी।
इसके बाद अटकलें लगाई जाने लगी कि क्या शिंदे सरकार गठन के फैसले से नाराज हैं और इसलिए सतारा जिले में अपने गांव चले गए हैं। हालांकि, अब उनकी पार्टी के नेता उदय सामंत ने सभी अटकलों पर विराम लगा दिया है। उन्होंने दावा किया कि कार्यवाहक मुख्यमंत्री परेशान नहीं हैं। वो बुखार और सर्दी से पीड़ित होने के कारण अपने पैतृक गांव चले गए।
शिवसेना के एक दूसरे नेता संजय शिरसाट ने कहा कि एकनाथ शिंदे अगले 24 घंटों में कोई बड़ा फैसला लेंगे। हालांकि, उन्होंने दावा किया कि शिवसेना प्रमुख केंद्रीय मंत्रिमंडल में कोई पद नहीं लेंगे क्योंकि उनकी दिलचस्पी महाराष्ट्र की राजनीति में है। गुरुवार रात दिल्ली में जब उन्होंने केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह से मुलाकात की तब भी वह अस्वस्थ थे।