joharcg.com रायपुर :भारत के महान अभियंता, योजनाकार और भारत रत्न सम्मान से अलंकृत मोक्षगुंडम विश्वेश्वरैया की जयंती के अवसर पर छत्तीसगढ़ के वन मंत्री श्री केदार कश्यप ने उन्हें भावभीनी श्रद्धांजलि अर्पित की। इस मौके पर उन्होंने कहा कि विश्वेश्वरैया केवल एक इंजीनियर ही नहीं बल्कि दूरदृष्टा विचारक भी थे, जिन्होंने देश के विकास और आधुनिक भारत की नींव रखने में महत्वपूर्ण योगदान दिया।
मंत्री श्री कश्यप ने कहा कि विश्वेश्वरैया का जीवन युवाओं के लिए प्रेरणा का स्रोत है। उनकी अद्भुत प्रतिभा और कार्यकुशलता ने भारत को वैश्विक स्तर पर पहचान दिलाई। उनके द्वारा किए गए जल संसाधन प्रबंधन, बांध निर्माण और औद्योगिक विकास के कार्य आज भी मिसाल बने हुए हैं। मंत्री ने उपस्थित लोगों से अपील की कि हम सबको उनके आदर्शों और कार्यशैली से सीख लेकर देश और समाज की प्रगति में योगदान देना चाहिए।

उन्होंने कहा कि आज के समय में इंजीनियरिंग और तकनीक का महत्व लगातार बढ़ रहा है। विश्वेश्वरैया की सोच को आत्मसात कर यदि हम नवाचार और ईमानदारी को अपने कार्य में शामिल करें तो भारत आत्मनिर्भर बनने की दिशा में और तेज़ी से आगे बढ़ सकता है।
इस अवसर पर विभागीय अधिकारियों, जनप्रतिनिधियों और विद्यार्थियों ने भी उनके योगदान को याद किया। वक्ताओं ने बताया कि विश्वेश्वरैया ने कर्नाटक के कृष्णराज सागर बांध सहित अनेक ऐतिहासिक परियोजनाओं का निर्माण कर देश को नई दिशा दी। वे तकनीकी शिक्षा के प्रबल समर्थक थे और उन्होंने हमेशा कहा कि राष्ट्र का निर्माण ज्ञान और कौशल से ही संभव है।
कार्यक्रम के अंत में वन मंत्री ने कहा कि भारत रत्न विश्वेश्वरैया की जयंती को अभियंता दिवस के रूप में मनाया जाता है, जो हर युवा को यह याद दिलाता है कि परिश्रम, अनुशासन और दूरदृष्टि से असंभव को भी संभव किया जा सकता है। उन्होंने उपस्थित युवाओं को संदेश दिया कि वे अपनी क्षमता को पहचानें और समाज के लिए सार्थक कार्य करें।