joharcg.com भारत निर्वाचन आयोग के निर्देशानुसार छत्तीसगढ़ में आगामी विधानसभा आम निर्वाचन-2023 के लिए राज्य स्तरीय मीडिया प्रमाणन एवं अनुवीक्षण समिति (Media Certification and Monitoring Committee) का गठन किया गया है। मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी श्रीमती रीना बाबासाहेब कंगाले की अध्यक्षता में सात सदस्यीय एमसीएमसी का गठन किया गया है। मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी कार्यालय द्वारा समिति के गठन के संबंध में जारी आदेश तत्काल प्रभावशील हो गया है।
मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी कार्यालय द्वारा आज जारी आदेश के अनुसार संयुक्त मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी श्री निलेशकुमार महादेव क्षीरसागर को राज्य स्तरीय मीडिया प्रमाणन एवं अनुवीक्षण समिति का सदस्य-सचिव बनाया गया है। पत्र सूचना कार्यालय (PIB) रायपुर के उप निदेशक श्री रमेश जयभाये, प्रेस काउंसिल ऑफ इंडिया के सदस्य डॉ. सुमन गुप्ता और मंत्रालय, नवा रायपुर में राष्ट्रीय सूचना विज्ञान केन्द्र में वैज्ञानिक श्री असीम कुमार थवाईत को समिति का सदस्य बनाया गया है। इनके साथ ही भारत निर्वाचन आयोग द्वारा नियुक्त प्रेक्षक और समिति द्वारा मनोनीत दक्ष प्रतिनिधि भी इसके सदस्य होंगे।
राज्य स्तरीय मीडिया प्रमाणन एवं अनुवीक्षण समिति विज्ञापनों के प्रमाणन के संबंध में जिला तथा अपर/संयुक्त मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी दोनों से प्राप्त अपील पर निर्णय लेगी। समिति जिला स्तरीय मीडिया प्रमाणन एवं अनुवीक्षण समिति के निर्णय के विरुद्ध अपील पर पेड न्यूज (Paid News) के सभी मामलों या स्वप्रेरणा से लिए गए मामलों की जांच करेगी। पेड न्यूज के मामले सही पाए जाने पर समिति संबंधित रिटर्निंग अधिकारी को अभ्यर्थियों को नोटिस जारी करने का निर्देश देगी।
छत्तीसगढ़ सरकार ने हाल ही में एक महत्वपूर्ण कदम उठाते हुए राज्य स्तरीय मीडिया प्रमाणन एवं अनुवीक्षण समिति का गठन किया है। इस नई समिति का उद्देश्य मीडिया के कामकाज की निगरानी और प्रमाणन से जुड़ी जिम्मेदारियों को संभालना है। यह कदम मीडिया क्षेत्र में पारदर्शिता और उत्तरदायित्व सुनिश्चित करने की दिशा में एक महत्वपूर्ण पहल है।
राज्य स्तरीय मीडिया प्रमाणन एवं अनुवीक्षण समिति का गठन मीडिया की गुणवत्ता, नैतिकता, और पेशेवर मानकों को सुनिश्चित करने के लिए किया गया है। समिति के गठन का मुख्य उद्देश्य यह है कि मीडिया क्षेत्र में अनुशासन और मानक बनाए रखें जाएं, जिससे जनता को सटीक और निष्पक्ष सूचनाएं मिल सकें।
- प्रमाणन प्रक्रिया: समिति मीडिया संगठनों और पत्रकारों के प्रमाणन की प्रक्रिया को लागू करेगी। यह सुनिश्चित करेगा कि मीडिया पेशेवर मानकों का पालन कर रहे हैं और उनकी रिपोर्टिंग सही और निष्पक्ष है।
- अनुवीक्षण और निगरानी: समिति मीडिया के कामकाज की निगरानी करेगी और यह सुनिश्चित करेगी कि मीडिया संस्थान और पत्रकार उन मानकों का पालन कर रहे हैं, जो पेशेवर और नैतिक दृष्टिकोण से सही हैं।
- संपर्क और शिकायत निवारण: जनता और मीडिया पेशेवरों के बीच एक सशक्त संपर्क स्थापित करना भी समिति के उद्देश्यों में शामिल है। इसके तहत, अगर कोई शिकायत आती है, तो समिति उसका निवारण करेगी और आवश्यक कदम उठाएगी।
समिति में मीडिया विशेषज्ञों, वरिष्ठ पत्रकारों, और कानूनी जानकारों को शामिल किया गया है, जो इस क्षेत्र में लंबे समय से काम कर रहे हैं। समिति का अध्यक्ष एक प्रमुख अधिकारी होगा, जो मीडिया और सूचना के क्षेत्र में अनुभव रखता है। अन्य सदस्य भी अपनी-अपनी विशेषज्ञता और अनुभव के आधार पर समिति का हिस्सा होंगे।
समिति के गठन पर स्थानीय और राष्ट्रीय मीडिया में मिश्रित प्रतिक्रियाएं देखने को मिली हैं। कुछ ने इसे मीडिया क्षेत्र में सुधार और मानक स्थापित करने के लिए एक सकारात्मक कदम माना है, जबकि अन्य ने इसकी आवश्यकता और प्रभावशीलता को लेकर सवाल उठाए हैं।
राज्य स्तरीय मीडिया प्रमाणन एवं अनुवीक्षण समिति के गठन से यह उम्मीद जताई जा रही है कि मीडिया क्षेत्र में सुधार आएगा और पेशेवर मानक बेहतर होंगे। समिति के कार्यों और निर्णयों के आधार पर मीडिया की गुणवत्ता और पारदर्शिता में सुधार होगा। यह समिति सुनिश्चित करेगी कि मीडिया के सभी पहलुओं को सही तरीके से संचालित किया जाए और जनता को सटीक जानकारी मिले।
समिति के गठन के साथ ही, मीडिया संस्थानों और पत्रकारों को नए मानकों और प्रक्रियाओं के बारे में अवगत कराया जाएगा, ताकि सभी पक्ष इस नई व्यवस्था का पालन कर सकें।