Shiv Mandir
joharcg.com Shiv Mandir District Narayanpur शिव मंदिर बसवकल्याण से 4 किमी और बीदर से 77 किमी की दूरी पर, भगवान शिव मंदिर है। नारायणपुर में स्थित है। नारायणपुर शिव अभयारण्य में चालुक्य शासकों द्वारा बारहवीं शताब्दी में काम किया गया था। अभयारण्य के बीच में शहर के अंदर अभयारण्य की व्यवस्था है। मार्ग में संत पत्थर और कन्नड़ के साथ एक टुकड़े सहित विभिन्न मॉडल, उत्कीर्णन हैं। वहाँ अभयारण्य के प्राथमिक विमला को शामिल करते हुए विभिन्न अप्सराओं के निवास स्थान हैं। वे चिकनी और सेक्सी हैं और गतिविधियों की एक श्रृंखला में, उदाहरण के लिए, मोहक श्रृंगार रस। यह अभयारण्य विन्यास जलसंगवी के कलमेश्वर अभयारण्य की तरह है। ऐसा कहा जाता है कि होयसल ने इस योजना को अपने अभयारण्य की रूपरेखा में अपनाया। अभयारण्य को कुछ पुनर्निर्माण मिला और पूरी तरह से ध्वस्त राज्य की स्कर्ट से संरक्षित किया गया
कैसे पहुंचें:
सड़क के द्वारा
1. रायपुर > अभनपुर > धमतरी > कांकेर > कोंडागांव > नारायणपुर,
2. रायपुर > अभनपुर > धमतरी > चारामा > भानुप्रतापपुर > अंतागढ़ > नारायणपुर,
3. राजनांदगांव > दल्ली राजहरा > भानुप्रतापपुर > अंतागढ़ > नारायणपुर,
4. जगदलपुर > कोंडागांव > नारायणपुर
PHOTO GALLERY
शिव मंदिर, नारायणपुर, छत्तीसगढ़ के जांजगीर-चांपा जिले में एक महत्वपूर्ण धार्मिक स्थल है। यह मंदिर अपनी अद्वितीय वास्तुकला और धार्मिक महत्व के लिए जाना जाता है।
मंदिर का इतिहास और वास्तुकला
(Shiv Mandir Narayanpur) शिव मंदिर का निर्माण 11वीं सदी में हुआ था और यह कalyानी चालुक्य शैली की वास्तुकला का एक उत्कृष्ट उदाहरण है। मंदिर का डिज़ाइन त्रिकुटाचल है, जिसमें तीन मुख्य कक्ष शामिल हैं: गर्भगृह और दो स्तंभित मंडप। यहाँ भगवान शिव के अलावा, नरसिंह और अन्य देवी-देवताओं की मूर्तियाँ भी स्थापित हैं, जो इस बात का संकेत देती हैं कि यह मंदिर कभी भगवान विष्णु को भी समर्पित था।
मंदिर की आंतरिक छत पर सुंदर पुष्प डिज़ाइन देखने को मिलते हैं, जो इसे और भी आकर्षक बनाते हैं। मंदिर के प्रवेश द्वार पर दो टूटी हुई मकर तोरण हैं, जो इसकी ऐतिहासिकता को दर्शाते हैं।
धार्मिक गतिविधियाँ
हर साल अगस्त महीने में यहाँ एक भव्य उत्सव मनाया जाता है, जिसमें देवी की प्रतिमा को गाँव के चारों ओर ले जाया जाता है। यह उत्सव स्थानीय लोगों के लिए एक महत्वपूर्ण धार्मिक अवसर होता है, जिसमें बड़ी संख्या में श्रद्धालु शामिल होते हैं।
यात्रा की जानकारी
नारायणपुर का शिव मंदिर बासवाकल्याण शहर से लगभग 4 किमी दूर स्थित है, जिससे यहाँ पहुँचना आसान है। स्थानीय परिवहन सेवाएँ उपलब्ध हैं, और पर्यटक अपनी गाड़ी से भी यहाँ आ सकते हैं।
निष्कर्ष
(Shiv Mandir Narayanpur) शिव मंदिर, नारायणपुर न केवल धार्मिक आस्था का केंद्र है, बल्कि यह कला और संस्कृति का एक अद्भुत उदाहरण भी प्रस्तुत करता है। यहाँ आने वाले श्रद्धालु न केवल आध्यात्मिक शांति का अनुभव करते हैं, बल्कि इस ऐतिहासिक स्थल की सुंदरता का भी आनंद लेते हैं। यदि आप धार्मिक पर्यटन के शौकीन हैं, तो यह मंदिर आपकी यात्रा की सूची में अवश्य होना चाहिए।